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धौलाना क्षेत्र की पाँच इकाइयों पर पर्यावरण नियमों के उल्लंघन के लिए 2.50 लाख रुपये का जुर्माना


HALCHAL INDIA NEWS

हापुड़ : प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड की टीम ने धौलाना क्षेत्र में चल रहे निर्माण कार्यों की जांच के दौरान पाँच फैक्टरियों को पर्यावरण मानकों का पालन न करने का दोषी पाया। निरीक्षण में यह सामने आया कि इन इकाइयों ने निर्माण सामग्री खुले में रखी हुई थी, जिससे धूल फैलकर प्रदूषण बढ़ रहा था। इसी आधार पर सभी पाँच औद्योगिक इकाइयों पर 50,000–50,000 रुपये का दंड लगाया गया है। जुर्माने की वसूली सुनिश्चित करने के लिए संबंधित एसडीएम मनोज कुमार को रिपोर्ट भेज दी गई है।

ग्रेप (GRAP) के तीसरे चरण की शुरुआत के बाद जिले में यह पहली बार ऐसी सख्त कार्रवाई की गई है। जिन इकाइयों पर कार्रवाई हुई है, वे एमजी रोड और देहरा औद्योगिक क्षेत्रों में स्थित हैं।

सहायक अभियंता विपुल कुमार ने बताया कि टीम द्वारा अचानक निरीक्षण किया गया था और ग़लत तरीके से रखी निर्माण सामग्री के कारण वायु गुणवत्ता पर नकारात्मक प्रभाव पड़ता पाया गया, जिसके चलते यह कदम उठाया गया।

वायु गुणवत्ता और बिगड़ी, AQI 361 तक पहुँचा

गुरुवार को हापुड़ की हवा "बहुत खराब" श्रेणी में दर्ज की गई। एक्यूआई 361 होने से प्रदूषण का स्तर बेहद चिंताजनक रहा। सुबह के समय शहर के विभिन्न हिस्सों में घना स्मॉग दिखाई दिया, जिससे लोगों को सांस लेने में परेशानी की शिकायतें बढ़ीं।

स्थानीय नागरिकों के अनुसार, सड़कों पर कूड़ा जलाने और धूल नियंत्रण में लापरवाही के कारण हालात लगातार बिगड़ते जा रहे हैं। 31 अक्टूबर के बाद से प्रदूषण में लगातार वृद्धि दर्ज की गई है, जबकि प्रभावी कार्रवाई अभी भी नज़र नहीं आ रही।