HALCHAL INDIA NEWS
हापुड़। शहर के पास स्थित गांव दोयमी अब आत्मनिर्भर महिलाओं का उदाहरण बन चुका है। इस बदलाव की शुरुआत साक्षी त्यागी ने की, जिन्होंने स्वयं सहायता समूह बनाकर 150 से अधिक महिलाओं को स्वरोजगार से जोड़ा और उन्हें आर्थिक रूप से सशक्त बनाया।
साक्षी त्यागी ने 12वीं तक की पढ़ाई की है। शादी के बाद आगे की पढ़ाई जारी नहीं रख सकीं, लेकिन गांव की महिलाओं की स्थिति देखकर उन्होंने कुछ नया करने का निर्णय लिया।
साक्षी ने महिलाओं को प्रेरित कर एक समूह बनाया, जिसमें शामिल सदस्यों ने मिलकर आम का अचार, आंवले का मुरब्बा, तुलसी चूर्ण, बेल का मुरब्बा और आंवले का अचार तैयार किए। इसके साथ ही उन्होंने वर्मी कंपोस्ट का उत्पादन भी शुरू किया।
कुछ समय बाद इनके उत्पादों की बिक्री दिल्ली और आसपास के जिलों में होने लगी, जिससे महिलाओं को आर्थिक सहारा मिला और उनका आत्मविश्वास भी बढ़ा।
साक्षी के प्रयासों से अब लगभग डेढ़ सौ महिलाएं विभिन्न समूहों में जुड़ी हैं और अपने बनाए उत्पादों के ब्लॉक स्तर पर स्टॉल भी लगाती हैं, जिससे गांव की सामाजिक और आर्थिक स्थिति में सुधार आया है।

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